अमेरिका ने पाकिस्तान की जमीन पर पलने वाले आतंकी संगठनों की फंडिंग रोकी

अमेरिका के राजकोषीय विभाग द्वारा बृहस्पतिवार को जारी वार्षिक रिर्पोट के मुताबिक, अमेरिका ने लश्कर-ए-तैयबा के 3,42,000 डॉलर, जैश-ए-मोहम्मद के 1,725 डॉलर, हरकत उल मुजाहिदीन के 45,798 डॉलर के कोष को बाधित करने में सफलता हासिल की। बता दें कि ये तीनों पाकिस्तानी आतंकवादी संगठन हैं। हरकत-उल-मुजाहिदीन जिहादी समूह है, जो कश्मीर में अपनी गतिविधियों को अंजाम देता है।
रिपोर्ट के मुताबिक, पाकिस्तान से संचालित और कश्मीर में अपनी गतिविधियों को अंजाम दे रहे एक और संगठन हिजबुल मुजाहिदीन के 4,321 डॉलर को वर्ष 2019 में रोकने में सफलता मिली जबकि उसके पिछले साल एजेंसियों को इस संगठन की 2,287 डॉलर की मदद रोकने में सफलता मिली थी। विभाग के मुताबिक, अमेरिका ने तहरीक-ए-तालिबान के वर्ष 2019 में 5,067 डॉलर जब्त किए।
बता दें कि डिपार्टमेंट ऑफ ट्रेजरी ऑफिस ऑफ फॉरेन एसेट कंट्रोल (ओएफएसी) अमेरिका की अहम एजेंसी है जिसकी जिम्मेदारी अंतराष्ट्रीय आतंकवादी संगठनों और आतंकवाद का समर्थन करने वाले देशों की संपत्ति पर लगे प्रतिबंध को लागू करवाना है।
रिपोर्ट के मुताबिक, अमेरिका ने वर्ष 2019 में करीब 70 घोषित आतंकवादी संगठनों के 6.3 करोड़ डॉलर के वित्तपोषण को रोकने में सफलता हासिल की जिनमें सबसे अधिक 39 लाख डॉलर अकेले अलकायदा के हैं जबकि वर्ष 2018 में अमेरिका ने आतंकवादी संगठनों के 4.6 करोड़ डॉलर बाधित किए थे जिसमें 64 लाख डॉलर की राशि अलकायदा की थी।
इस सूची में हक्कानी नेटवर्क भी है जिसकी 26,546 डॉलर की राशि जब्त की गई जो वर्ष 2018 के 3,626 डॉलर के मुकाबले अधिक है।रिपोर्ट के मुताबिक, अमेरिका ने वर्ष2019 में लिब्रेशन टाइगर ऑफ तमिल ईलम (लिट्टे) की 5,80,811 डॉलर की राशि रोकने में सफलता हासिल की है।
विभाग की रिपोर्ट के मुताबिक अमेरिका ने आतंकवाद प्रायोजित करने वाले देशों की सूची में शामिल ईरान, सूडान,सीरिया और उत्तर कोरिया की 20.019 करोड़ डॉलर की राशि बाधित की है।
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